शुक्रवार, 27 अप्रैल 2012

रफ्तार और रोमांच-थ्रिलर फिल्म है ‘तेज’

सितारों से भरी प्रियदर्शन की फिल्म ‘तेज’ दर्शकों को और भी तेजी से देखने को उकसाती है। वो ज्यादातर कॉमेडी फिल्मों को बनाने के लिए जाने जाते हैं। मगर इसके द्वारा उन्होंने कुछ प्रयोग और बदलाव करना चाहा है। जितना एक्शन और ड्रामा हम फिल्म के ट्रेलर में देखते आए हैं वैसा ही पूरे फिल्म में दिखाया गया है। यकीन मानिए, निर्देशक महोदय आपको निराश नहीं करेंगे।
लंदन में फिल्माई गई तेज एक हाइस्पीड ट्रेन को बचाने और तबाह करने का खेल है। इसी को एक्शन और थ्रिलर से भरा गया है। फिर भी अगर इसको कुछ खास बनाता है तो वह भी रोमांच है। पुलिस ऑफिसर बने अनिल कपूर व बोमन इरानी को चमका देना ही अजय देवगन का काम रहता है। अजय नाकारात्मक भूमिका में भी वाह-वाही लूटते हैं। बदले की भावना से वह ट्रेन में बम लगा देता है और लंदन के मुसाफिरों को मारने की साजिश रचता है। इससे बचाना ही फिल्म का रोंमांच है।
फिल्म तेज का साकारात्मक पक्ष है स्टंट सीन, हालांकि इस तरह के दृश्य हॉलीवुड में आम बात है, लेकिन हिंदी‍ फिल्मों की दृष्टि से देखा जाए तो ये बेहतरीन हैं। बाइक पर सवार समीरा रेड्डी और उसके पीछे लगी पुलिस वाला चेजिंग सीन सबसे बेहतर है। हिन्दी दर्शकों के लिए इसे तेज तर्रार माना जाएगा।
फिल्म में सभी सितारों का अभिनय भी लगभग सामान्य ही है। फिर भी तारीफ में तो अजय देवगन, अनिल कपूर और बोमन ईरानी ने अपने किरदार पूरी गंभीरता और परिपक्वता के साथ निभाए। जायद खान, समीरा रेड्डी और कंगना के लिए बहुत कम गुंजाइश थी इसलिए उनका रोल औसत दर्जे का रहा।
अगर अप हॉलीवुड सिनेमा के शैकीन हैं और उसे हिन्दी कलाकार और अनुवाद के साथ देखना चाहते हैं तो ‘तेज’ में वो सारी चीजें आपको मिल सकती है। स्पीड, चेज और इससे मिलते जुलते रोमांचक अनुभव से भरी है फिल्म तेज।